नई दिल्ली: स्वर्ण आरक्षण के लोकसभा में पारित होने के बाद राज्यसभा में परीक्षा चल रही है,लेकिन इसी बीच आर्थिक,शैक्षिक,राजनीतिक रूप से पिछड़े हुए मुसलमानों के लिये भी आरक्षण की माँगे उठने लगी हैं,और मुसलमानों को भी आरक्षण देने की मांग होरही है।
इस बारे में तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चन्द्रशेखर राव ने मुसलमानों के लिए आरक्षण की मांग की है. उन्होंने अपने सांसदों से कहा है कि वो आरक्षण का मुद्दा संसद में उठाए. केसीआर के मुताबिक तेलंगाना विधानसभा में पहले ही पिछड़े मुसलमानों को आरक्षण देने का प्रस्ताव पेश हो चुका है. पिछड़े मुसलमानों को 12 फीसदी आरक्षण का प्रस्ताव केन्द्र सरकार को भेजा जा चुका है. चन्द्रशेखर राव के मुताबिक ऐसा ही प्रस्ताव केन्द सरकार भी ले कर आए।
उधर समाजवादी पार्टी के नेता आजम खान ने भी मांग की है कि 5 फीसदी आरक्षण मुसलमानों को भी दिया जाए।
बता दें कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सामान्य श्रेणी में आर्थिक रूप से पिछड़े वर्ग के लिए नौकरियों और शैक्षणिक संस्थानों में 10 प्रतिशत आरक्षण को मंजूरी दे दी है. सूत्रों ने बताया कि सरकार मंगलवार को इस संबंध में संसद में संविधान संशोधन विधेयक ला सकती है. यह मौजूदा 50 प्रतिशत आरक्षण से अलग होगा।
सूत्रों ने कहा कि सामान्य वर्ग को अभी आरक्षण हासिल नहीं है. एक सूत्र ने बताया, ‘आरक्षण आर्थिक रूप से पिछड़े ऐसे गरीब लोगों को दिया जाएगा जिन्हें अभी आरक्षण का फायदा नहीं मिल रहा है.’
उन्होंने कहा कि आरक्षण का लाभ उन्हें मिलने की उम्मीद है जिनकी वार्षिक आय आठ लाख रूपये से कम होगी और पांच एकड़ तक जमीन होगी. सूत्रों ने बताया कि फैसले को लागू करने के लिए संविधान के अनुच्छेद 15 और 16 में संशोधन करना होगा।
इस बारे में तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चन्द्रशेखर राव ने मुसलमानों के लिए आरक्षण की मांग की है. उन्होंने अपने सांसदों से कहा है कि वो आरक्षण का मुद्दा संसद में उठाए. केसीआर के मुताबिक तेलंगाना विधानसभा में पहले ही पिछड़े मुसलमानों को आरक्षण देने का प्रस्ताव पेश हो चुका है. पिछड़े मुसलमानों को 12 फीसदी आरक्षण का प्रस्ताव केन्द्र सरकार को भेजा जा चुका है. चन्द्रशेखर राव के मुताबिक ऐसा ही प्रस्ताव केन्द सरकार भी ले कर आए।
उधर समाजवादी पार्टी के नेता आजम खान ने भी मांग की है कि 5 फीसदी आरक्षण मुसलमानों को भी दिया जाए।
बता दें कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सामान्य श्रेणी में आर्थिक रूप से पिछड़े वर्ग के लिए नौकरियों और शैक्षणिक संस्थानों में 10 प्रतिशत आरक्षण को मंजूरी दे दी है. सूत्रों ने बताया कि सरकार मंगलवार को इस संबंध में संसद में संविधान संशोधन विधेयक ला सकती है. यह मौजूदा 50 प्रतिशत आरक्षण से अलग होगा।
सूत्रों ने कहा कि सामान्य वर्ग को अभी आरक्षण हासिल नहीं है. एक सूत्र ने बताया, ‘आरक्षण आर्थिक रूप से पिछड़े ऐसे गरीब लोगों को दिया जाएगा जिन्हें अभी आरक्षण का फायदा नहीं मिल रहा है.’
उन्होंने कहा कि आरक्षण का लाभ उन्हें मिलने की उम्मीद है जिनकी वार्षिक आय आठ लाख रूपये से कम होगी और पांच एकड़ तक जमीन होगी. सूत्रों ने बताया कि फैसले को लागू करने के लिए संविधान के अनुच्छेद 15 और 16 में संशोधन करना होगा।